2024-09-06 06:13:55 ( खबरवाले व्यूरो )
शिमला : उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि हिमाचल में मंदिरों का सोना-चांदी गिरवी नहीं रखा जाएगा। लगता है कि नेता विपक्ष स्वप्न देख रहे हैं। मुकेश ने कहा कि जयराम ठाकुर प्रदेश को अस्थिर करने के लिए सनसनी फैलाने का काम कर रहे हैं। नेता विपक्ष को बताना चाहिए कि सोना-चांदी गिरवी रखने की तैयारी का उनके पास क्या प्रमाण है। कांग्रेस विधायक मलेंद्र राजन ने सदन में डमटाल स्थित रामगोपाल मंदिर की खराब हालत का मामला उठाया। इस सवाल की चर्चा के दौरान नेता विपक्ष ने कहा कि जानकारी मिली है कि मंदिरों के सोना और चांदी को सरकार गिरवी रखने जा रही है। जीपीएफ पर भी सरकार ऋण ले चुकी है।
जयराम ने कहा कि अगर रामगोपाल मंदिर के पास जमीन है और मंदिर में श्रद्धा है तो मंदिर के निर्माण के लिए मंजूर नौ करोड़ रुपये पर रोक लगाना वाजिब नहीं है। नेता विपक्ष के इस बयान का उपमुख्यमंत्री ने कड़े शब्दों में विरोध किया। उन्होंने कहा कि नेता विपक्ष प्रदेश को अस्थिर करना चाहते हैं। लोगों से खिलवाड़ करना चाहते हैं। नेता प्रतिपक्ष बताएं कि किस मंदिर का सोना-चांदी गिरवी रखा गया। किस मंदिर के लिए इस तरह का प्रस्ताव है। यह इनके मन की सोच है और मनगढ़ंत है। मुकेश ने कहा कि इन्होंने ही केदारनाथ वगैरह का सोना गिरवी रखा होगा।
उधर, रामगोपाल मंदिर का मामला उठाते हुए विधायक मलेंद्र राजन ने कहा कि डमटाल स्थित इस मंदिर की करोड़ों रुपये की संपत्ति है। लेकिन, मंदिर की हालत खराब हो गई है। अनियमितताओं की जांच होनी चाहिए। जवाब में उपमुख्यमंत्री ने बताया कि मंदिर के नाम पर डमटाल में 16 हजार कनाल, शाहपुर में 145 कनाल, पठानकोट में 548 कनाल भूमि है। 15 करोड़ की एफडीआर है, पांच होटल, दो पेट्रोल पंप और 12 क्रशर भी मंदिर के नाम पर हैं। मंदिर पर हुए खर्च का रिकॉर्ड तलब किया गया है। पूर्व सरकार ने चुनाव से एक माह पहले मंदिर के निर्माण के लिए नौ करोड़ रुपये मंजूर किए थे। इसे अब रोकने का फैसला लिया है। भाषा एवं संस्कृति विभाग के सचिव की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाकर मंदिर की संपत्ति का ब्योरा एकत्र किया जाएगा। भूमि की डिमारकेशन करवाई जाएगी। मंदिर को भव्य बनाने के लिए योजना भी तैयार की जाएगी। संपत्ति को सहेजने के लिए भी कमेटी सुझाव देगी। मंदिर की भूमि पर किस-किस के कब्जे हैं, इसकी भी पड़ताल की जाएगी।